आज बैसाखी के साथ ही मेष संक्रांति का स्नान करने के लिए श्रद्धालुओं का हुजूम उमड़ पड़ा। आज शाम छह बजे तक हरिद्वार पुलिस को यात्रियों की भीड़ संभालने के लिए चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। कोरोनाकाल में दो साल बाद पहली बार बिना किसी रोक टोक के बैसाखी व मेष संक्रांति स्नान हो रहा है।
बैसाखी के मौके पर यहां परंपरा के अनुसार कई लोग गंगा स्नान और दान आदि करने के लिए घाटों का रुख कर रहे हैं. बुधवार से ही इस पर्व को मनाने के लिए नगर में श्रद्धालुओं का तांता लगना शुरू हो गया था और 14 अप्रैल की अलसुबह से ही हर की पैड़ी समेत कई घाटों पर अच्छी खासी भीड़ देखने को मिली.
धर्मनगरी में स्नान पर्व को लेकर एक सप्ताह पहले ही ऑनलाइन होटल बुक हो गए थे। स्नान पर्व से एक दिन पहले बुधवार को ही शहर के सभी होटलों में यात्रियों का आना शुरू हो गया था। वहीं धर्मशालाओं के अलावा गुरुओं के आश्रमों में आकर भी यात्रियों ने डेेरा डाल दिया था।

सुबह चार बजे से बैसाखी व मेष संक्रांति का स्नान शुरू हो गया था।
ट्रैफिक और पार्किंग को मैनेज करने के लिए शहर का पूरा प्लान बनाया गया है. इसके हिसाब से दिल्ली की तरफ से आने पर वाहनों को खड्डा पार्किंग, रोडीबेलवाला दीनदयाल पार्किंग व पंतद्वीप पार्किंग मिलेगी, वहीं देहरादून और ऋषिकेश की तरफ से आने पर दूधाधारी चौक से डायवर्ट कर मोतीचूर पार्किंग में वाहनों को जगह मिलेगी.
घाटों के अलावा मंदिरों में भी भीड़ बढ़ गई है. शुभ मुहूर्त को लेकर विशेषज्ञों ने बताया कि सुबह 5 बजे से करीब ढाई घंटे तक स्नान शुभ रहेगा इसलिए अलसुबह से ही आस्था का सैलाब यहां उमड़ा.
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